shashwatsuport@gmail.com +91 7000072109 B-75, Krishna Vihar, Koni, Bilaspur, C.G 495001
Mon - Sat 10:00 AM to 5:00 PM
Book Image
Book Image
Book Image
ISBN : 978-93-6087-915-0
Category : Academic
Catalogue : Reference
ID : SB21124

मोटा अनाज: मूल्य संवर्धन एवं व्यंजन विधियां

na

डॉ. कामिनी जैन

Paperback
499.00
e Book
299.00
Pages : 239
Language : Hindi
PAPERBACK Price : 499.00

About book : मोटे अनाजों की बड़ी हुई खपत ग्रामीण एवं शहरों की युवा पीढ़ी तथा छोटे एवं मध्यम उद्योगों को मोटे अनाज के संस्करण व्यापरीकरण हेतु बढ़ावा देगी तथा नए अवसर प्रदान करेगी। मोटे अनाज फसलें न केवल पोषण का स्वरूप है अपितु प्रतिकूल कृषि जलवायु परिस्थितियों में भी उपज देने में सक्षम है। इन फसलों का विभिन्न उद्यमों में उपयोग किया जा सकता है जिससे किसानों की आय में वृद्धि होगी। इन फसलों का उत्पादन तकनीक पर प्रशंसनीय अनुसंधान कार्य किये जा रहे हैं। मोटे अनाज फसलें उत्तम भोजन शैली का स्वरूप है। यह न सिर्फ उत्तम स्वास्थ्य व स्वस्थ शरीर के रखरखाव में अपना प्रबल योगदान देते हैं बल्कि इनसे मूल्य सवंर्धित उत्पाद बनाकर प्रसंस्करण प्रौद्योगिकी को बढ़ावा दिया जा रहा है। जिससे रोजगार में वृद्धि होगी किसानों की आय में भी वृद्धि कर सकते हैं। पश्चिमी खानपान के भारतीय खानपान में प्रभुत्व से इन अनाजों की खपत भारतीय परिवार में कम हो रही है। इन अनाजों के मूल्य संवर्धित व्यंजनों को अपनाने से न सिर्फ भारतीय भोजन थाली में स्वास्थ्य की बढ़ोतरी होगी अपितु शारीरिक पोषण की भी पूर्ति होगी।

About author : डॉ. श्रीमती कामिनी जैन का जन्म होषंगाबाद म.प्र. वर्तमान में नर्मदापुरम के के नाम से जाना जाता है ने बी.एस.सी.गृहविज्ञान, एम.एस.सी. गृहविज्ञान, बी.एड एवं पी.एच.डी. की उपाधियॉ प्राप्त की। इन्होने अपना शोध कार्य डॉ. आई. एस. चौहान पूर्व उच्चायुक्त फिजी पूर्व कुलपति बरकतउल्ला विष्वविद्यालय भोपाल एवं भोज मुक्त विष्वविद्यालय भोपाल के निर्देषन में किया। डॉ. जैन ने 1984 से अपनी शासकीय सेवाएँ सहायक प्राध्यापक पद से शासकीय गृहविज्ञान स्नातकोत्तर अग्रणी महाविद्यालय नर्मदापुरम म.प्र. से प्रारंभ की। वर्तमान में स्नातकोत्तर प्राचार्य के पद पर शासकीय गृहविज्ञान स्नातकोत्तर अग्रणी महाविद्यालय नर्मदापुरम म.प्र. में पदस्थ है। इनकी 41 से अधिक पुस्तकों का प्रकाषन हो चुका है। इनकी 50 बुकलेट, 112 प्रसार लेख एवं 100 से अधिक शोध उपाधियॉ एवं लघुषोध निर्देषन 50, लगभग 200 से अधिक शोध पत्रों का प्रकाषन हो चुका है। इन्होने विष्वविद्यालय अनुदान आयोग द्वारा प्रदत्त 08 शोध परियोजनाओं एवं 09 राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद भोपाल द्वारा प्रदत्त शोध परियोजनाओं पर कार्य किया है। शोध के क्षेत्र में इनके योगदान को देखते हुए इन्हे रिसर्च लिंक स्वर्ण पदक, मदर टेरेसा अवार्ड, राजीव गॉधी ऐजुकेषन एक्सीलेंस अवार्ड, बेस्ट प्रिंसीपल अवार्ड रिसर्च ऐज्यूकेषन द्वारा 05 सितम्बर 2022 में एवं षिक्षा-रत्न पुरस्कार प्रदान किये गये है। आयुक्त म.प्र. शासनष्उच्च षिक्षा विभाग द्वारा इन्हे सत्र 2012-13 में इनके कुषल नेतृत्व एवं षिक्षा के क्षेत्र में गुणवत्ता के लिए प्रयास के लिए प्रषंसा पत्र प्रदान किया गया है।

Customer Reviews


 

Book from same catalogue

Books From Same Author