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ISBN : 978-93-6087-194-9

Category : Fiction

Catalogue : Poetry

ID : SB21740

‘न उतरे न और उतारे’

गीतावली

Dr. Chiranji Lal 'Chanchal'

Hardcase

1500.00

e Book

199.00

Pages : 115

Language : Hindi

About Book

‘न उतरे न और उतारे’ काव्य कृति के अधिकांश गीतों की विषयवस्तु, पृष्ठभूमि सत्य, यथार्थ, तर्क, विवेक, विज्ञान के साथ व्यवहारिकता की मिट्टी मे उपजे विचारों से उद्भूत है। इनका स्रोत और जड़ वहीं से निकली है जहाँ हकीकत वास्तविकता यथार्थ निवास करता है। यह कल्पनाओं का पिटारा नहीं अनुभूतियों की पगदण्डी है। जिस पर कदम दर कदम सोच समझकर आगे बढ़ा गया है। आश उससे जिसका अस्तित्व ही नहीं है। अपेक्षा उससे जो स्वयं अमूर्त है। आँखें खोलो देखो पढ़ो आगे बढ़ो। लोग कहाँ थे और कहाँ पहुँच गए। हाथ दिए इसलिए हैं कुछ उत्पाद करो। ये नहीं एक के ऊपर दूसरा रखकर बैठ जाओ या दोनो को मिलाकर भक्त बन जाओ। अरे ये पंख हैं। इनको फैलाओ आकाश में विचरो उसे नापो, कुछ करके दिखाओ, अपना लक्ष्य निर्धारित कर रात दिन एकाग्रचित्त होकर उसकी ओर चलो। उतरो और उतारो, सुधरो और सुधारो, पढ़ो और पढ़ाओ, जानो और जानने के लिए प्रेरित करो।


About Author

नाम : डॉ० चिरंजी लाल ‘चंचल’ जन्म तिथि : 05-01-1950 पैत्रक निवास : मौहल्ला भूवरा, टाउन एरिया– मसवासी जनपद-रामपुर, उत्तर प्रदेश पिता का नाम : निर्वाण प्राप्त श्रध्देय कड़ढे लाल जी माता का नाम : निर्वाण प्राप्त श्रध्देया (श्रीमती ) मंगिया देवी जी पत्नी का नाम : डॉ० लीलावती शिक्षा : एम० ए० (हिन्दी, संस्कृत, दर्शनशास्त्र), बी० एड०, पी० एच० डी० कार्य क्षेत्र : सेवानिवृत प्रवक्ता, हिन्दी संस्कृत, सनातन धर्म इन्टर कालेज, रामपुर सम्प्रति : संस्थापक एवं प्रबन्धक, इनोवेटिव पब्लिक जूनियर हाई स्कूल, मुरादाबाद प्रकाशित कृतियाँ गीतावली 1. ऐसे न समर्पण कर दूँगा 2. कैसे न समर्पण कर दूँगा 3. तथाता 4. अथोsहम 5. तथात्वम 6. सम्मासती 7. अपने दीपक आप सभी 8. नाम क्या दूँ ? 9. तत्त्वमसि 10. शीशों का मसीहा कौन यहाँ? 11. मिला कोई नहीं मिलने 12. हमने कब डाले हथियार 13. जमीं पर हैं पटके 14. तुम कौन हो? 15. भय करता पैदा भगवान 16. जो चाहो जीवन में उत्कर्ष 17. ये जग है निर्व्याख्य 18. कौन सहारा बना किसी का? 19. कौन है कौन? 20. न ज्ञाता न ज्ञेय बचे 21. न उतरे न और उतारे कवितावली 1. सूरज निकलता नही 2. हार नही मानूँगा 3. क्या इस ब्यूह को तोड़ सकोगे 4. बैठे हैं तैयार 5. तुम्हारा क्या ? 6. यह कैसा जनतंत्र दोहावली 1. भाग एक 2. भाग दो खण्ड काव्य 1. चतुर्दिक नमन गज़लें 1. बिखरा हूँ मैं 2. संसार क्या जाने ? मुक्तकावली सम्मान : दलित साहित्य अकादमी नई दिल्ली द्वारा डॉ० अम्बेडकर फेलोशिप, डॉ० अम्बेडकर मेमोरियल ट्रस्ट अलीगढ़ द्वारा अन्तराष्ट्रीय भीम रत्न पुरस्कार, भारतीय बौध्द महासभा उ०प्र० द्वारा साहित्य एवं समाज के क्षेत्र में दी जाने वाली डॉ० अम्बेडकर फेलोशिप से सम्मानित, अनेक सामाजिक, सांस्कृतिक एवं साहित्यिक संस्थाओं से सम्बद्ध I सम्पर्क सूत्र : इनोवेटिव पब्लिक स्कूल, निकट चौहानों की मिलक, मण्डी समिति रोड मुरादाबाद उ०प्र० पिन- 244001, मोब.न. 09997344811, Email ID: chanchalchiranjilal@gmail.com

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